जयपुर। रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने राजधानी जयपुर में लघु उद्योग भारती के कार्यक्रम के दौरान कहा कि जयपुर के गांधीनगर और खातीपुरा रेलवे स्टेशन के नाम बदले जाएंगे। रेल मंत्री ने कहा कि स्टेशन के नामों के साथ ‘जयपुर’ जोड़ा जाएगा। ताकि यात्रियों को पहचानने में आसानी हो सके।
उदाहरण देते हुए उन्होंने बताया- गांधीनगर रेलवे स्टेशन का नाम ‘जयपुर गांधीनगर’ किया जा सकता है, जिससे यह स्पष्ट हो कि यह राजस्थान का है। न की गुजरात का। इसी तरह खातीपुरा रेलवे स्टेशन को ‘जयपुर खातीपुरा’ नाम दिया जा सकता है। उन्होंने जयपुर के नागरिकों और जनप्रतिनिधियों से अपील की कि वे बैठकर इस पर निर्णय लें और सुझाव दें।
रेल मंत्री ने घोषणा कि लघु उद्योग भारती के साथ मिलकर पांच हजार युवाओं के लिए इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरिंग का कार्यक्रम शुरू किया जाएगा। जयपुर में रेलवे और स्टार्टअप सेक्टर को जोड़ने के लिए भी केंद्र और राज्य सरकार मिलकर एक इंटीग्रेशन सेंटर तैयार करेगी। इसमें स्टार्टअप को मेंटरशिप और इन्वेस्टर से जोड़ने की सुविधा दी जाएगी। आने वाले कुछ महीनों में यह प्रोजेक्ट जमीन पर उतरता दिखाई देगा।
गौरतलब है कि रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव गुरुवार को अपने एक दिवसीय दौरे पर जयपुर पहुंचे हैं। यहां सुबह खातीपुरा रेलवे स्टेशन पर रेलवे अधिकारियों और स्थानीय जनप्रतिनिधियों ने उनका स्वागत किया। इस दौरान रेल मंत्री ने खातीपुरा रेलवे स्टेशन स्थित इंटीग्रेटेड कोच परिसर और रेल कोच रेस्टोरेंट का निरीक्षण किया। उन्होंने उत्तर पश्चिम रेलवे के महाप्रबंधक अमिताभ के साथ चर्चा करते हुए रेल कोच परिसर के विस्तार की दिशा में कदम उठाने की बात कही।
खातीपुरा निरीक्षण के दौरान रेल मंत्री के साथ जयपुर सांसद मंजू शर्मा, सिविल लाइंस विधायक गोपाल शर्मा और जयपुर नगर निगम ग्रेटर महापौर सौम्या गुर्जर मौजूद रहे। इसके बाद मंत्री जगतपुरा स्थित लघु उद्योग भारती के नवनिर्मित भवन पहुंचे, जहां स्टार्टअप और नए आइडियाज के विनर्स को सम्मानित किया गया। इस अवसर पर उपमुख्यमंत्री प्रेमचंद बैरवा और कैबिनेट मंत्री राज्यवर्धन सिंह राठौर भी मौजूद रहे।
सुबह रेल मंत्री ने बताया था कि जयपुर में बड़ी मेंटेनेंस फैसिलिटी डेवलपमेंट की योजना है, जहां एक साथ 12 से 18 गाड़ियों का मेंटेनेंस किया जा सकेगा। इस तरीके की व्यवस्थाएं की जा रही हैं। इसमें वंदे भारत ट्रेन समेत कई ट्रेनों का मेंटेनेंस शामिल होगा। आने वाले समय में इसका फायदा यह होगा कि जयपुर से नई गाड़ियां शुरू की जा सकेंगी।
रेल मंत्री ने बताया कि इंडस्ट्री के लिए कार्गो और मल्टीपरपज टर्मिनल्स विकसित करने की योजना है। साथ ही रेलवे ट्रैक के दोनों ओर ज्यादा से ज्यादा फेंसिंग की दिशा में भी कदम उठाए जा रहे हैं। राजस्थान के बड़े शहरों को रेलवे फाटक से मुक्त करने का निर्णय लिया गया है। आने वाले दो से तीन महीने में पूरे प्रदेश का प्लान तैयार कर मंगवाया गया है। सभी जोन इसमें शामिल होंगे और प्लान को सेंशन किया जाएगा। आने वाले सालों में जनता को फाटक की समस्या से मुक्ति मिलेगी। इसके बाद दोपहर रेल मंत्री जयपुर जंक्शन रेलवे स्टेशन के सेकेंड एंट्री पर चल रहे पुनर्विकास कार्य का निरीक्षण किया। इसके बाद गांधीनगर जयपुर स्टेशन के पुनर्विकास कार्यों की प्रगति भी देखा।




















