दलित उत्थान महा अभियान: सरपंच का किया जनता ने पंच के नेतृत्व में स्वागत

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जयपुर। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के जन्मदिन से शुरू हुए शहरी ग्रामीण सेवा शिविरों के तहत दलित उत्थान महा अभियान चला कर उन घुमंतू तथा दलित बस्तियों ढाणियों और गांव को मुख्यधारा से जोड़ा जा रहा हैं। जिन्हें देश की आजादी के बाद से आज तक जिस भूमि पर वह रह रहे हैं।उस भूमि का अधिकार ही नहीं मिला।

भारत जोड़ो मिशन सोसायटी तथा ग्रामीण क्षेत्र के समाज सेवकों के संयुक्त तत्वाधान में चलाये जा रहे हैं इस अभियान की शुरुआत घुमंतू तथा दलित समाज के गांव जय जसपुर के मुख्य मंदिर बाबा रामदेव मंदिर के प्रांगण में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के जन्मदिन को मानते हुए 17 सितंबर को हुआ था।

भारत जोड़ो मिशन सोसाइटी धरातल पर जिस तरीके से कार्य करती है उसे देखते हुए लग रहा है कि जिस प्रकार राज्य सरकार ने घुमंतू अर्ध घुमंतू तथा विमुक्त समाज के लिए अलग से आदेश दिए थे। उसी तर्ज पर दलित तथा गरीब नागरिकों की लगभग तीस वर्ष से भी अधिक समय से बसी बस्तियों ढाणियों तथा गांव के लिए भी अलग से सर्वे के आदेश आएंगे और उनके भविष्य को भी अब प्रधानमंत्री मोदी के संकल्पों के अनुसार. सामाजिक एवं आर्थिक सुरक्षा प्रदान होगी।

दलित उत्थान महा अभियान के तत्वाधान में जय जसपुरा गांव में दलित उत्थान महा अभियान के संयोजक रामेश्वर जाट तथा स्थानीय पंच कालूराम स्वामी के नेतृत्व में सरपंच हनुमान सहाय जाट तथा पंच रामचंद्र का ग्रामीण नागरिकों की मदद की दिशा में महत्वपूर्ण कदम उठाने के लिए सम्मान किया गया।

सम्मान के लिए सेवा यात्रा के रूप में ग्रामीण अपने परिवार के सभी सदस्यों के साथ रैली निकालते हुए तथा प्रधानमंत्री मोदी जिंदाबाद के नारे लगाते हुए ग्राम पंचायत भवन पहुंचे । जहां रामस्वरूप जाट संयोजक दलित उत्थान महा अभियान तथा स्थानीय पंच कालूराम स्वामी के नेतृत्व में सरपंच के नाम प्रार्थना पत्र सौंपा गया। उसे प्रार्थना पत्र पर तुरंत कार्रवाई करते हुए विभागीय कार्रवाई संपन्न करने पर सरपंच तथा पांच का सम्मान किया गया है।

रामस्वरूप जाट ने इस अवसर पर कहा कि सरपंच हनुमान सहाय जाट तीन बार लगातार ग्रामीणों की मदद के लिए प्रयास कर चुके हैं लेकिन हर बार जयपुर विकास प्राधिकरण तथा संबंधित विभाग की उदासीनता के कारण इन नागरिकों को स्थायी आवास के लिए पट्टे नहीं मिल पाए। इस बीच यह भूमि आबादी से बदलकर अन्य किस्म की हो गई। इस गलती को सुधारने के लिए आज महत्वपूर्ण पत्र सरपंच तथा पंच एवं सभी अन्य पंचगणों की उपस्थिति में अधिकारियों को बनाकर भेज दिया हैं।

भारत जोड़ो मिशन सोसाइटी के प्रदेश अध्यक्ष अनीष कुमार नाडार ने कहा कि आजादी के सत्तर वर्षों के बाद भी अलग-अलग राजनीतिक दलों द्वारा बदल-बदल कर राज करने के बाद भी आज हजारों नागरिकों को स्थायी आवास के लिए पट्टे उपलब्ध नहीं हो पा रहे हैं। अब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संकल्प के चलते निचले स्तर पर जीवन जी रहे इन गरीब नागरिकों के लिए प्रयास किया जा रहे हैं।

लेकिन अधिकतर स्थानों में दलित नागरिकों में अपने अधिकारों के प्रति समझ नहीं होने के कारण तथा स्थानीय स्तर पर भी अलग-अलग गुटों में बंटे होने के कारण अपना हक रखने के बावजूद सरकार के विकास कार्य तक नहीं पहुंच पा रहे लोगों के लिए सरकार ने ग्रामीण स्तर पर कार्य करने वाले ग्राम सचिव, पटवारी तथा विकास अधिकारी को उनके घर तक पहुंचने और उनकी मदद करने के आदेश दिए हुए हैं।

उन आदेशों की पालना मात्र से अब आजादी के बाद पहली बार दलित का महा उत्थान तय हो रहा हैं। जिसके लिए हम सरकार के साथ कार्य करने वाले और दलितों की मदद करने वाले सरपंच, पंच, कर्मचारी अधिकारी तथा अन्य सामाजिक एवं राजनेताओं का सम्मान कर रहे हैं।

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