जयपुर। शहीद हुए पुलिस कर्मियों के सम्मान में हर वर्ष की भांति इस वर्ष भी 21 अक्टूबर को पुलिस शहीद दिवस आयोजित किया जा रहा है। इस आयोजन में 1 सितम्बर 2024 से 31 अगस्त 2025 के दौरान शहीद हुए पुलिसकर्मियों को श्रद्धांजलि अर्पित की जाएगी। मुख्य समारोह राजस्थान पुलिस अकादमी स्थित शहीद स्थल पर होगा, उस के बाद त्रिमूर्ति सर्किल स्थित पुलिस स्मारक पर शहीदों को पुष्प चक्र अर्पित कर श्रद्धांजलि दी जाएगी।
66 वर्ष पूर्व लद्दाख में शहीद हुए थे भारतीय पुलिस के जवान
पुलिस महानिदेशक राजीव कुमार शर्मा ने बताया कि 21 अक्टूबर का दिन भारतीय पुलिस इतिहास में सर्वोच्च बलिदान का प्रतीक है। आज से ठीक 66 वर्ष पहले 21 अक्टूबर 1959 के दिन लद्दाख के अत्यंत दुर्गम क्षेत्र में भारतीय पुलिस के जांबाज जवानों ने अपनी मातृभूमि की रक्षा करते हुए अपने प्राण न्योछावर कर दिए थे। इन अमर जवानों की शहादत को याद करने और उनके बलिदान से प्रेरणा ग्रहण करने के लिए पूरे देश में प्रत्येक वर्ष 21 अक्टूबर को पुलिस शहीद दिवस मनाया जाता है। इस दिन देश का हर पुलिस संगठन और संस्थान उन शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित करता है, जिन्होंने ड्यूटी के दौरान अपनी जान गंवाई।
जयपुर में मुख्य समारोह की व्यवस्था
जयपुर में मुख्य पुलिस शहीद दिवस समारोह सुबह 8 बजे राजस्थान पुलिस अकादमी (आरपीए) स्थित शहीद स्मारक पर आयोजित किया जाएगा। पुलिस महानिदेशक राजीव शर्मा द्वारा शहीद पुलिसकर्मियों को गार्ड ऑफ ऑनर और श्रद्धांजलि दी जाएगी।
एडीजी कानून व्यवस्था विशाल बंसल ने बताया कि गार्ड ऑफ ऑनर एवं परेड के लिए कमिश्नरेट जयपुर, चतुर्थ बटालियन और पाँचवीं बटालियन आरएसी की एक-एक प्लाटून सम्मिलित होगी। समारोह में महानिदेशक पुलिस रैंक से सेवानिवृत्त हुए एक पुलिस अधिकारी और जयपुर स्थित सेवानिवृत्त अराजपत्रित पुलिस अधिकारी को बुलाया गया है। इस कार्यक्रम में जयपुर स्थित पुलिस विभाग के सभी भारतीय पुलिस सेवा एवं राजस्थान पुलिस सेवा के अधिकारी भाग लगे।
श्रद्धांजलि के साथ सामाजिक कार्यक्रम
समारोह के उपरान्त कई सामाजिक और जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। आरपीए और जिला पुलिस लाइनों में स्वैच्छिक रक्तदान शिविर का आयोजन किया जाएगा और सभी पुलिस कार्यालयों की साफ-सफाई की जाएगी। शहीद पुलिसकर्मियों की स्मृति में आरपीए एवं जयपुर स्थित सभी पुलिस लाइनों में वृक्षारोपण का कार्यक्रम किया जाएगा। यदि कोई पुलिसकर्मी जयपुर जिले का शहीद हुआ है, तो उस शहीद पुलिसकर्मी के निकट परिजन से पौधा लगाया जाएगा और पौधे पर अमर शहीद के नाम की तख्ती लगाई जाएगी।