जयपुर। राजस्थान में पिछले डेढ़ साल से निकाय और पंचायत चुनाव नहीं कराए जाने के विरोध में कांग्रेस ने मोर्चा खोल दिया है। इसके चलते राजीव गांधी पंचायती राज संगठन बीस अगस्त को जयपुर में स्वराज रैली और राजभवन कूच करेगा।
संगठन के प्रदेशाध्यक्ष सीबी यादव ने यह जानकारी दी कि उन्होंने कहा कि बीस अगस्त को संगठन के तमाम कार्यकर्ता पीसीसी मुख्यालय के बाहर इकट्ठा होंगे और यहां पर स्वराज संवाद स्थापित किया जाएगा। जहां पर स्थानीय सरकारों के जनप्रतिनिधियों से संवाद किया जाएगा। इसके बाद कार्यकर्ता रैली के रूप में राजभवन की ओर कूच करेंगे।
रैली के प्रमुख मुद्दे हैं – पंचायत व निकाय चुनावों की तत्काल बहाली, मनमाने परिसीमन का विरोध, दो बच्चों का नियम समाप्त करना, पंचायतों-निकायों के वित्तीय व प्रशासनिक अधिकार लौटाना, 11वीं व 12वीं अनुसूची के विषयों का हस्तांतरण, निर्वाचित प्रतिनिधियों को पेंशन व मानदेय, पारदर्शी मतदाता सूची और ग्राम सभा की वीडियो रिकॉर्डिंग।
साथ ही इस कार्यक्रम में पीसीसी चीफ गोविंद सिंह डोटासरा, नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली, आरजीपीआरएस के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ सुनील पंवार सहित कई नेता मौजूद रहेंगे । गौरतलब है कि बीस अगस्त को पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी का जन्मदिन है। राजीव गांधी ने 73वें और 74वें संविधान संशोधन के जरिए हर पांच साल में निकाय और पंचायत चुनाव करवाना अनिवार्य किया था।
यादव ने कहा कि संविधान के अनुच्छेद 243 ई और 243 यू में कहीं भी यह प्रावधान नहीं है कि पांच वर्ष के कार्यकाल पूर्ण होने के बाद चुनाव स्थगित किया जा सके। उन्होंने स्पष्ट किया कि परिसीमन नई जनगणना के बाद ही किया जा सकता है। साल 2019 में पिछला परिसीमन हुआ था और उसके बाद कोई जनगणना नहीं हुई है।
यादव ने भाजपा सरकार पर आरोप लगाया कि वह केंद्र के निर्देशों पर स्थानीय सरकारों और जनप्रतिनिधियों को कमजोर करने की रणनीति पर काम कर रही है। उन्होंने राज्य निर्वाचन आयोग पर भी सवाल उठाए। उनका कहना है कि सुप्रीम कोर्ट द्वारा हरियाणा की एक ग्राम पंचायत और चंडीगढ़ नगर निगम के मेयर का चुनाव निर्णय बदलने से यह स्पष्ट हो गया है कि राज्य निर्वाचन आयोग भाजपा सरकारों के बंधक के रूप में काम कर रहा है।
यादव ने कहा जिस व्यक्ति को वोट देने का अधिकार है उसे चुनाव लड़ने का भी अधिकार है लेकिन दो बच्चों वाला नियम बनाकर उस व्यक्ति के संवैधानिक अधिकारों का हनन किया जा रहा है, वो व्यक्ति भले ही कितना योग्य हो लेकिन अगर दो से ज्यादा बच्चे हैं तो वो चुनाव नहीं लड़ सकता है यह नियम संविधान के विपरीत है। उन्होंने कहा कि ग्राम सभा को संविधान में खूब अधिकार दिए गए हैं लेकिन राजस्थान में एक भी ग्राम सभा नहीं है जो कागजों में भी मौजूद हो।
उन्होंने कहा कि निकाय और पंचायत चुनाव कराने के साथ ही स्थानीय सरकारों को मजबूत बनाने सहित कई मुद्दों को लेकर हमने पूरे राजस्थान में व्यापक जन जागरण अभियान चलाया है और हस्ताक्षर अभियान के जरिए पांच लाख से अधिक नागरिकों और स्थानीय जनप्रतिनिधियों का हस्ताक्षर एकत्रित किए हैं जिसे हम राज्यपाल को सौंपेंगे।