जयपुर। कानोंता के समीप बोरथल क्षेत्र में विश्व की सबसे बड़ी गौ पुनर्वास केंद्र हिंगोनिया ने गौसेवा के क्षेत्र में एक और सशक्त कदम उठाया है। केंद्र में गौवंश के उपचार के लिए 11 हजार वर्ग फीट में नई काऊ केयर युनिट का शुभारम्भ किया है। इसी के साथ तीस हजार वर्ग फीट का निर्माण कार्य अभी जारी है। हिंगोनिया गौ पुनर्वास केंद्र की नई गौवंश उपचार इकाई घायल गायों के लिए जीवनदान बन गई है।
11 हजार वर्ग फीट के काऊ केयर युनिट से अब घायल, बीमार और दुर्घटनाग्रस्त गौवंश को तत्काल प्राथमिक चिकित्सा और आपात उपचार उसी स्थल पर उपलब्ध कराया जा सकेगा। हिंगोनिया गौ पुनर्वास केंद्र के उपाध्यक्ष रघुपति दास ने बताया की काऊ केयर युनिट में नई तकनीक के साथ गौमाता का उपचार और सेवा की जाएगी, घायल और बीमार गौवंश के लिए तत्काल उपचार, ड्रिप, इंजेक्शन, पट्टी, औषधियाँ एवं आपात चिकित्सा की सुविधा उपलब्ध रहेगी।
उन्होंने बताया की तीस हजार वर्ग फीट क्षेत्र में एक अत्याधुनिक चिकित्सा भवन का निर्माण भी तीव्र गति से जारी है, जिसमें शल्य चिकित्सा कक्ष, रिकवरी ज़ोन और उच्च तकनीकी उपकरणों की सुविधा होगी। उन्होंने कहा की गौसेवा के क्षेत्र में हिंगोनिया को देश का आदर्श ‘गौसेवा मॉडल’ बनाया जाए, यही उनका प्रयास है।