आर–पार की लड़ाई की तैयारी: वार्ता विफल होने पर सफाई कर्मचारियों में बढ़ी नाराज़गी

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Preparations for a fight to the finish: Discontent among sanitation workers grows as talks fail
Preparations for a fight to the finish: Discontent among sanitation workers grows as talks fail

जयपुर। जयपुर नगर निगम में पिछले कुछ दिनों से चल रहा सफाई कर्मचारियों का आंदोलन अब निर्णायक मोड़ पर पहुँच गया है। संयुक्त वाल्मीकि एवं सफाई श्रमिक संघ के नेतृत्व में जारी क्रमिक अनशन का गुरुवार को चौथा दिन रहा और प्रशासन से हुई वार्ता विफल होने के बाद कर्मचारियों ने आर–पार की लड़ाई का संकेत दे दिया है।

आंदोलन की जमीनी गतिविधियाँ

संयुक्त वाल्मीकि और सफाई श्रमिक संघ नगर निगम जयपुर हेरिटेज—ग्रेटर अध्यक्ष नन्द किशोर डंडोरिया ने बताया कि गुरुवार आदर्श नगर, झोटवाड़ा, मुरलीपुरा और विद्याधर नगर जोनों की विभिन्न कॉलोनियों में संघ के प्रतिनिधियों ने जाकर आमजन और कर्मचारियों को आंदोलन की वर्तमान स्थिति से अवगत कराया। इस जनसंपर्क अभियान का मुख्य उद्देश्य था कि कर्मचारियों को एकजुट करना और आने वाली सामूहिक आमसभा की तैयारी को मजबूत करना।

अनशन कविताओं का सम्मान और नेतृत्व की मौजूदगी

गुरुवार को क्रमिक अनशन के लिए नए साथियों—राजू चांवरिया, रोहित कलोसिया, राजकुमार चंडालिया सहित अन्य युवाओं—को अनशन पर बैठाया गया। संगठन और वाल्मीकि पंच कमेटी के कई वरिष्ठ पदाधिकारी, जिनमें पूर्व अध्यक्ष, सरपंच, महामंत्री और कार्यकारी अध्यक्ष शामिल थे। जिन्होंने अनशन कविताओं का माल्यार्पण कर उत्साहवर्धन किया।

यह मजबूत नेतृत्व की उपस्थिति बताती है कि आंदोलन केवल कर्मचारी–स्तर का नहीं, बल्कि समुदाय और सामाजिक प्रतिनिधियों के सहयोग से संचालित एक व्यापक संघर्ष बन चुका है।

वार्ता विफल: संघर्ष तेज होने के आसार

नन्द किशोर डंडोरिया के मुताबिक नगर निगम प्रशासन ने यूनियन को गुरुवार सुबह वार्ता के लिए बुलाया था। लेकिन यह बातचीत किसी समाधान पर नहीं पहुंच सकी। संगठन का आरोप है कि उनकी मांगों पर कोई ठोस आश्वासन नहीं दिया गया। न ही किसी निर्णायक कदम का संकेत मिला। वार्ता विफल होने से कर्मचारियों में असंतोष और बढ़ गया है,और आंदोलन अब सख्त रुख की ओर बढ़ रहा है।

आज होगी महत्त्वपूर्ण आमसभा

संघ ने घोषणा की है कि शुक्रवार की सुबह लाल कोठी स्थित नगर निगम मुख्यालय पर जयपुर शहर सहित राजस्थान के विभिन्न संगठनों और सभी सफाई कर्मचारियों की सामूहिक आमसभा आयोजित की जाएगी।

इस आमसभा में आंदोलन की आगे की कार्ययोजना पर निर्णय लिया जाएगा और संभावना है कि आर–पार की लड़ाई की औपचारिक घोषणा भी की जाए। वहीं शुक्रवार की आमसभा अब इस आंदोलन का अहम मोड़ साबित हो सकती है—जहाँ तय होगा कि बातचीत का रास्ता खुलेगा या संघर्ष और तीखा होगा।

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