भाईयों को राखी बांधने के लिए बहनों को केद्रींय कारागृह में गुजरना पड़ेगा कानूनी प्रक्रिया से

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Sisters will have to go through the legal process in central jail to tie Rakhi to their brothers
Sisters will have to go through the legal process in central jail to tie Rakhi to their brothers

जयपुर। केद्रींय कारागृह में हर साल की भांति इस वर्ष भी बहनों को रक्षा बंधन पर कानूनी प्रक्रिया से गुजरना पड़ेगा। जिसकी प्रक्रिया पिछली बार की तरह ही रहेगी। इस बार भी रक्षाबंधन पर बहन अपने भाईयों को सिर्फ रक्षा सूत्र बांध पाएंगी और मुंह मीठा करवाने के लिए भाईयों को जेल में बनी केंटीन से मिठाई लेनी होगी। बहने जेल में बंद अपने भाई की कलाई पर रक्षा सूत्र बांधने के बाद हाथ पर ही तिलक लगा कर उन से अपनी रक्षा का वचन लेगी।

इसलिए की ये प्रक्रिया

जयपुर जेल में आए दिन समाज संकट किसी न किसी रूप में मोबाइल और नशीली वस्तु पहुंचाते रहते है। जेल में बंद खुखार बदमाश मोबाइल के जरिए बाहर से अपना नेटवर्क चलते है। जिसके चलते गैंगवार जैसी बड़ी वारदाते जन्म लेती है।इसी के चलते जेल प्रशासन ने इस बाहर से आने वाली मिठाईयों के साथ अन्य सामानों की भी जेल के अंदर एंट्री पूर्णता बंद कर दी है।

बहने अपने भाईयों को रक्षा सूत्र बांधने के बाद जेल में बनी केंटीन में अपने भाई के नाम से पैसे जमा करवा सकती है और भाई केंटीन से मिठाई व अन्य सामान प्राप्त कर सकता है।

रक्षा बंधन पर अलग –अलग टीमें करेंगी निगरानी

रक्षा बंधन के पावन पर्व पर जेल प्रशासन ने बहनों की बढ़ती भीड़ को देखते हुए अलग-अलग टीमों का गठन किया है। जिसमें कुछ टीमें जेल के अंदन और कुछ जेल के बाहर सख्त निगरानी करेंगी। महिलाओं को अपने आधार कार्ड से जेल में बंद बंदी के नाम से पर्ची बनवानी पड़ेगी । जिसके बाद फोटो खींचवाने के बाद पुरानी सलाखों के बीच में से वो अपने भाई को राखी बांध पाऐंगी।

जेल एसपी राकेश मोहन शर्मा ने बताया कि रक्षा बंधन पर करीब 1 हजार से अधिक महिलाएं जेल में बंद अपने भाईयों को रक्षा सूत्र बांधने के आती है। इसके लिए जेल प्रशासन ने पुख्ता तैयारी कर रखी है। जिसके चलते महिलाओं को किसी परेशानी का सामना नहीं करना पड़ा और जेल के अंदर किसी भी तरह की कोई आपत्तिजनक वस्तु नहीं पहुंच पाए।

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