जयपुर। राजस्थान के झालावाड़ जिले में पुलिस ने नशे के सौदागरों के खिलाफ एक सनसनीखेज कार्रवाई को अंजाम दिया है। पुलिस ने एक वाहन से 3 करोड़ 15 लाख रुपए मूल्य की 1.574 किलोग्राम उच्च गुणवत्ता वाली स्मैक बरामद की है। इस मामले में चौंकाने वाली बात यह है कि तस्करों ने अपने नापाक मंसूबों को अंजाम देने के लिए महिलाओं और मासूम बच्चों को ढाल बनाया था। पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए 2 पुरुष और 4 महिलाओं सहित 6 आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है, जबकि इस गोरखधंधे के दो मुख्य सरगना भी पुलिस की गिरफ्त में हैं।
जिला पुलिस अधीक्षक अमित कुमार ने इस बड़ी सफलता का खुलासा करते हुए बताया कि जिले में संगठित अपराध और विशेष रूप से मादक पदार्थों की तस्करी के खिलाफ एक व्यापक अभियान चलाया जा रहा है। इसी कड़ी में अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक महिला अपराध अनुसंधान सेल बाबुलाल मीणा के निर्देशन में पुलिस थाना असनावर की विशेष टीम ने मुखबिर से मिली सूचना के आधार पर अकलेरा रोड पर नाकाबंदी की।
पुलिस को एक संदिग्ध इको कार आती हुई दिखाई दी। जब पुलिस ने गाड़ी को रुकवाकर तलाशी ली तो उसमें सवार दो पुरुष और चार महिलाएं बेहद घबराई हुई दिखीं। एक महिला की गोद में एक छोटा बच्चा भी था, जिसे देखकर पहली नजर में किसी को शक नहीं हुआ।
हालांकि पुलिस टीम की पैनी नजरों ने संदिग्ध गतिविधियों को भांप लिया। नियमानुसार गाड़ी की गहन तलाशी लेने पर सीटों के नीचे और अन्य गुप्त स्थानों पर छुपाकर रखी गई 1.574 किलोग्राम स्मैक बरामद हुई, जिसकी अंतर्राष्ट्रीय बाजार में कीमत लगभग 3 करोड़ 15 लाख रुपए आंकी गई है। पूछताछ में गिरफ्तार आरोपियों ने बताया कि वे इस खेप को घाटोली निवासी हेमंत तंवर से लेकर आए थे और जयपुर के रामनगर में रहने वाले राजू उर्फ राजेश नामक व्यक्ति को सौंपने जा रहे थे।
पुलिस ने तत्परता दिखाते हुए तुरंत दो अलग-अलग टीमों का गठन किया। एक टीम ने घाटोली में दबिश देकर मुख्य आपूर्तिकर्ता हेमंत तंवर को धर दबोचा, वहीं दूसरी टीम ने जयपुर पहुंचकर राजू उर्फ राजेश को भी हिरासत में ले लिया। पुलिस अधीक्षक कुमार ने बताया कि प्रारंभिक पूछताछ में आरोपियों ने स्वीकार किया है कि वे अक्सर महिलाओं और बच्चों को साथ लेकर चलते थे ताकि रास्ते में पुलिस की चेकिंग से बचा जा सके और किसी को उन पर संदेह न हो।
पुलिस अब यह पता लगाने में जुटी है कि इतनी बड़ी मात्रा में मादक पदार्थ की खरीद और खपत कहां-कहां की जानी थी और इस तस्करी नेटवर्क में और कौन-कौन लोग शामिल हैं। गिरफ्तार और हिरासत में लिए गए आरोपियों से गहन पूछताछ जारी है, जिससे इस अवैध धंधे की जड़ों तक पहुंचा जा सके।
मामले में पुलिस ने आरोपी गोरधन पुत्र चम्पालाल तंवर (27) निवासी कंवरपुरा थाना घाटोली और फुलचंद पुत्र भैरुलाल भील (35), अंजना बाई पत्नी बनवारी लाल भील (23), कैला बाई पत्नी सुजान सिंह भील (40), ममता बाई पत्नी फुलचंद भील (28) और गीता बाई पत्नी सोहन लाल (35) निवासी झीकडिया थाना घाटोली को गिरफ्तार कर आरोपी हेमंत तंवर पुत्र प्रभुलाल निवासी दुर्जनपुरा हाल घाटोली और राजु उर्फ राजेश पुत्र लालाराम सांसी (45) निवासी रामनगर जयपुर को हिरासत में लिया है।
इस महत्वपूर्ण कार्रवाई को सफल बनाने वाली पुलिस टीम में शामिल थे: जिला स्पेशल टीम के प्रभारी एएसआई विश्वनाथ सिंह, हैड कांस्टेबल सुरेंद्र गुर्जर, कांस्टेबल लेखराज, भरतराज, रामलाल, दौलत राम, जयकिशन, चालक ललित शर्मा और कांस्टेबल साइबर सैल रवि सेन।
थाना असनावर से थानाधिकारी मोहनचंद, एएसआई भंवर सिंह, हैड कांस्टेबल सत्यनारायण, केसरदेव, निरंजन, महिला कांस्टेबल ऊषा, बाबूलाल और चालक भरत ने सराहनीय योगदान दिया। पुलिस थाना कोतवाली से पुलिस निरीक्षक मुकेश चौधरी, एएसआई रमेश चंद, कांस्टेबल चंद्रशेखर, अनिल कुमार और जनरैल सिंह ने भी इस ऑपरेशन में अपना सहयोग दिया। विशेष भूमिका निभाने वाले हेड कांस्टेबल सुरेंद्र गुर्जर की कर्तव्यनिष्ठा और त्वरित कार्रवाई इस सफलता में महत्वपूर्ण रही।