अमानक खाद-बीज व दवाई से किसानों को हुए नुकसान की भरपाई इन्हें बनाने वाली कंपनियों से हो : किरोड़ी

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The companies that manufacture substandard fertilizers, seeds and medicines should compensate the farmers for their losses: Kirori
The companies that manufacture substandard fertilizers, seeds and medicines should compensate the farmers for their losses: Kirori

जयपुर । कृषि मंत्री डॉ. किरोड़ीलाल मीणा ने दिल्ली में बुधवार को केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान और उर्वरक मंत्री जेपी नड्डा से मुलाकात कर अमानक खाद—बीज व दवाई के दुष्प्रभाव से किसानों को हुए नुकसान की भरपाई इन्हें बनाने वाली कंपनियों से करने का कानूनी प्रावधान करने की मांग की है।

उन्होंने कहा कि घटिया उत्पाद बनाने पर लाइसेंस निरस्त करने का नियम तो है। लेकिन यह प्रावधान नहीं है कि इससे उपयोग से किसानों को हुए नुकसान की भरपाई भी कंपनियों से ही हो। अमानक उत्पादकों से किसानों का उत्पादन तो कम होता ही है, जमीन की उर्वरता भी प्रभावित होती है। जब तक किसानों के इस दोहरे नुकसान की भरपाई कंपनियां नहीं करेगी तब तक इस ठगी पर पूरी तरह से लगाम नहीं लगेगी।

किरोड़ी ने कहा कि उन्होंने पिछले दिनों केंद्रीय कृषि मंत्री को पत्र लिखकर अमानक खाद, बीज व पेस्टीसाइड बनाने वाली कंपनियों के खिलाफ कड़ा कानून बनाने की मांग की थी, जिस पर वे मुहर लगा चुके हैं। किरोड़ी ने इस प्रस्तावित कानून में किसानों को होने वाले नुकसान का मुआवजा घटिया उत्पाद बनाने वाली कंपनियों से वसूलने का प्रावधान जोड़ने की मांग की है। इस तरह की मांग उठाने वाले किरोड़ी किसी भी प्रदेश के पहले कृषि मंत्री हैं।

किरोड़ी ने बताया कि हाल ही में केंद्रीय कृषि मंत्री के संज्ञान में आया था कि सोयाबीन में नकली दवाई डालने से किसानों की फसल नष्ट हो गई। इसे बनाने वाली कंपनी का लाइसेंस तुरंत प्रभाव से रद्द कर दिया। राजस्थान में भी केंद्रीय कृषि मंत्रालय की अनुशंसा पर इस कंपनी का लाइसेंस रद्द किया गया है। गौरतलब है कि राजस्थान में अमानक उत्पाद बनाकर किसानों को ठगने वाली कंपनियों के खिलाफ 29 मई से अभियान चल रहा है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान के नेतृत्व में किसानों के साथ अन्याय नहीं होने दिया जाएगा। दोषियों पर कड़ी से कड़ी कार्रवाई होगी।

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