दिल्ली के अलीपुर में गोगी गिरोह के नरेंद्र मलिक हत्याकांड में शामिल बदमाश मुठभेड़ के बाद गिरफ्तार

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The criminal involved in the Narendra Malik murder case of Gogi gang in Alipur, Delhi, arrested after an encounter.
The criminal involved in the Narendra Malik murder case of Gogi gang in Alipur, Delhi, arrested after an encounter.

जयपुर। एंटी गैंगस्टर टास्क फोर्स पुलिस मुख्यालय, दिल्ली क्राइम ब्रांच एवं हनुमानगढ़ जिले की डीएसटी ने सोमवार को संयुक्त कार्रवाई में दिल्ली के अलीपुर में 22 अप्रैल को हुए गोगी गिरोह के नरेंद्र मलिक हत्याकांड में शामिल बदमाश सागर उर्फ शंकर पुत्र मनोज उर्फ मोज्जी (20) निवासी गांव लाठ सोनीपत हरियाणा को मुठभेड़ के बाद दबोच लिया। दोनों तरफ से हुई फायरिंग में बदमाश सागर के पैर में गोली लगने से उसे हनुमानगढ़ अस्पताल में भर्ती कराया गया है।

अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक एंटी गैंगस्टर टास्क फोर्स एवं अपराध दिनेश एमएन ने बताया कि रविवार को दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच से हाल ही में दिल्ली के अलीपुर में गैंगवार में हत्या के वांछित अपराधी सागर उर्फ शंकर के संगरिया और टिब्बी थाना क्षेत्र में छिपे होने के पुलिस मुख्यालय को इनपुट प्राप्त हुए थे। यह बदमाश टिल्लू ताजपुरिया, नीरज बवानिया व अमित दबंग गिरोह का सक्रिय सदस्य हैं।

सूचना के आधार पर हनुमानगढ़ एसपी विकास सांगवान को वांछित अपराधी सागर उर्फ शंकर की पहचान एवं रुकने के स्थान के बारे में सूचना दी गई। साथ ही एजीटीएफ के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक विद्या प्रकाश और पुलिस इंस्पेक्टर सुनील जांगिड़ व रविंद्र प्रताप सिंह को समन्वय के लिए लगाया गया।

एमएन ने बताया कि सोमवार शाम करीब 5:30 बजे एजीटीएफ राजस्थान, दिल्ली क्राइम ब्रांच व एनडीआर एवं हनुमानगढ़ की डीएसटी द्वारा थाना टिब्बी क्षेत्र के साबूआना में बदमाश सागर उर्फ शंकर को पकड़ने के लिए घेराबंदी की गई। इसी दौरान आरोपी ने पुलिस पर जानलेवा हमला कर फायरिंग प्रारंभ कर दी।

जिसमें दिल्ली पुलिस के एक जवान के गोली लगी, लेकिन बुलेट प्रूफ जैकेट पहने होने के कारण उसकी जान बच गई। जवाबी कार्रवाई में पुलिस की गोली पैर में लगने से मुल्जिम सागर उर्फ शंकर घायल हो गया। जिस घेर कर टीम ने दबोच लिया। आरोपी को उपचार के लिए राजकीय चिकित्सालय हनुमानगढ़ में भर्ती करवाया गया है।

एडीजी ने बताया कि इस कार्रवाई में हनुमानगढ़ डीएसटी प्रभारी तेजवंत सिंह बराड़ उप निरीक्षक, कांस्टेबल अमित, रामावतार और विकेश की अपराधी के रुकने, पहचान करने और पकड़ में विशेष योगदान रहा। दिल्ली क्राइम ब्रांच से इंस्पेक्टर योगेश व विनोद यादव, सब इंस्पेक्टर दीपेंद्र और हैड कांस्टेबल आशीष की टीम मुठभेड़ में शामिल थी।

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