रक्षाबंधन को लेकर बाजारों में बढ़ी रौनक, जयपुर के प्रमुख बाजारों में सजी राखियों की दुकानें

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The markets are full of excitement on the occasion of Rakshabandhan
The markets are full of excitement on the occasion of Rakshabandhan

जयपुर। भाई-बहन के अटूट प्रेम का प्रतीक रक्षाबंधन का पर्व नौ अगस्त (शनिवार ) को मनाया जाएगा। जैसे-जैसे यह पर्व नजदीक आ रहा है, वैसे-वैसे राजधानी जयपुर के बाजारों में खासा उत्साह देखा जा रहा है। वहीं जिसे लेकर भाई-बहनों में खासा उत्साह दिख रहा है। शहर के प्रमुख बाजार जौहरी बाजार, बापू बाजार, त्रिपोलिया बाजार, नाहरगढ़ रोड,कटला , राजा पार्क, वैशाली नगर, मानसरोवर और टोंक रोड में राखियों और उपहारों की दुकानों पर भीड़ उमड़ने लगी है।

देशभर की राखियों की बढ़ी मांग

इस बार बाजारों में केवल जयपुर ही नहीं, बल्कि कोलकाता, मुंबई और गुजरात से मंगवाई गई रंग-बिरंगी और डिजाइनर राखियों की भी जमकर खरीदारी हो रही है। ग्राहकों को कस्टमाइज्ड,बच्चों के लिए कार्टून थीम वाली और पारंपरिक राखियों की ढेर सारी वैरायटी मिल रही है। वहीं बहनों की पसंद को ध्यान में रखते हुए दुकानदारों ने डोरी, मोती, कुंदन, जरी व जरदोजी से सजी राखियों की बेहतरीन रेंज उपलब्ध है।

गिफ्ट और मिठाइयों की दुकानों पर भी भीड़

राखियों के साथ ही भाइयों के लिए उपहारों की खरीदारी भी जोरों पर है। मोबाइल एक्सेसरीज, कपड़े, घड़ियां, चॉकलेट बॉक्स, पर्सनलाइज्ड गिफ्ट और डेकोरेटिव आइटम्स की मांग बढ़ गई है। वहीं मिठाई की दुकानों पर घेवर के अलावा काजू कतली, रबड़ी, लड्डू और चॉकलेट गिफ्ट बॉक्स की भी जोरदार बिक्री हो रही है।

शगुन की वस्तुएं भी खूब बिकीं

त्योहार को देखते हुए बाजार में शगुन के लिए थालियां, सूखे मेवे, फलों और कच्चे नारियल की मांग भी जबरदस्त रही। इन वस्तुओं की खरीदारी से बाजारों में रौनक दोगुनी हो गई है।

बाजारों की सजावट ने बढ़ाई शोभा

त्योहार को देखते हुए दुकानदारों ने अपनी दुकानों को रंगीन लाइटों, फूलों और सजावटी झंडियों से सजाया है। कई दुकानों पर खास रक्षाबंधन ऑफर्स और डिस्काउंट्स भी दिए जा रहे हैं, जिससे ग्राहक बड़ी संख्या में खरीदारी करने आ रहे हैं।

प्रशासन की तैयारी भी पूरी

बढ़ती भीड़ को देखते हुए ट्रैफिक पुलिस ने विशेष व्यवस्था की है। भीड़ भाड़ वाले बाजारों में ट्रैफिक डायवर्जन और पार्किंग की वैकल्पिक व्यवस्था की गई है। साथ ही, महिलाओं की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए पुलिस बल की तैनाती भी बढ़ाई गई है।

उत्साह और उमंग से सराबोर शहर

रक्षाबंधन का पर्व केवल एक धागा बांधने की रस्म नहीं, बल्कि यह एक ऐसा पर्व है जो पारिवारिक संबंधों की गर्माहट और सांस्कृतिक एकता को भी दर्शाता है। जयपुर वासियों में इस पर्व को लेकर गजब का उत्साह है और बाजारों की रौनक इस बात का प्रमाण है।

ग्रामीण इलाकों की महिलाएं राखियों की खरीदारी के लिए जयपुर पहुंच रही है

ग्रामीण क्षेत्रों से भी बड़ी संख्या में महिलाएं और युवतियां राखियों की खरीदारी के लिए जयपुर पहुंच रही हैं. बाजारों में बढ़ती भीड़ और महिलाओं की उत्साह भरी मौजूदगी से माहौल पूरी तरह से त्योहारमय हो गया है। इस बार की राखियों में पर्यावरण के अनुकूल राखियों से लेकर कस्टमाइज डिजाइन की डिमांड भी तेजी से बढ़ी है। त्योहार की तैयारियों के साथ बहनें भाइयों के लिए प्यार, आशीर्वाद और शुभकामनाओं का धागा चुनने में जुटी हैं।

बच्चों को भा रही है लाइट और कार्टून वाली राखियां

रक्षाबंधन को देखते हुए बाजार में बच्चों के लिए खास राखियों की दुकानें सजाई गई हैं। इनमें छोटा भीम, मोटू पतलू और लाइट वाली राखियों की मांग अधिक है। जयपुर ग्रामीण के कई कस्बों की कॉलोनी में किराना दुकानों पर भी कई वैरायटी की राखियां बिक रही हैं। ओम और विष्णु नाम वाली राखियों के साथ-साथ धागे और डायमंड राखियां भी खूब पसंद की जा रही हैं।

व्यापारियों को करोड़ों के कारोबार की उम्मीद

व्यापारियों का कहना है कि इस बार भी बाजार में राखी ,कपड़े ,मिठाई ,गिफ्ट आइटम, खिलौने ,चॉकलेट, ज्वेलरी आर्टिफिशियल ज्वेलरी के बनी हुई राखियां ब्रेसलेट आदि की भी बहुत ही अच्छी बिक्री हो रही है और जयपुर जिले में राखियां, मिठाइयां, नारियल गोला, कपड़े, चॉकलेट आदि के कारोबार से इस भी करोड़ों रुपए का व्यापार होने की उम्मीद है। दुकानों पर पहले से ही जमकर खरीदारी हो रही है और ग्राहकों का उत्साह देखते ही बन रहा है।रक्षाबंधन पर्व पर राजस्थान रोडवेज की बसों में महिलाएं दो

दिन तक फ्री यात्रा

रक्षाबंधन पर्व पर राजस्थान रोडवेज की बसों में महिलाओं और बालिकाओं को दो दिन तक फ्री यात्रा की सुविधा दी जाएगी। यह सुविधा 9 और 10 अगस्त 2025 को लागू होगी। रोडवेज ने इसके लिए परिवहन विभाग से प्रशासनिक और वित्तीय स्वीकृति मांगी है। योजना के तहत राजस्थान राज्य की सीमा में चलने वाली सभी श्रेणियों की साधारण बसों में यह छूट लागू होगी। वातानुकूलित (एसी), वोल्वो और ऑल इंडिया परमिट पर चलने वाली बसें इस योजना में शामिल नहीं होंगी।

प्रबन्ध निदेशक पुरुषोत्तम शर्मा ने बताया – हर साल की तरह इस बार भी रक्षाबंधन पर महिलाओं और बालिकाओं को निशुल्क यात्रा सुविधा देने का प्रस्ताव भेजा गया है। अनुमान है कि इस योजना से करीब 8.5 लाख महिलाएं और बालिकाएं लाभान्वित होंगी। इसका कुल वित्तीय भार लगभग 14 करोड़ रुपए रहने की संभावना है, जिसे सरकार की ओर से वहन किया जाएगा।

रोडवेज की नॉन-एसी बसों में लागू होगी योजना

रोडवेज की ओर से साफ किया गया है कि महिलाओं को यात्रा के दौरान कोई किराया नहीं देना होगा, लेकिन उन्हें पहचान पत्र जैसे आवश्यक दस्तावेज साथ रखने होंगे। यह योजना केवल राजस्थान राज्य की सीमा के भीतर लागू रहेगी।

इस बार रक्षाबंधन पर भद्रा नहीं,बहनें पूरे दिन बांध सकेंगी राखी

सनातन धर्म में रक्षाबंधन के पर्व का विशेष महत्व हैं। भाई बहन के प्रेम का प्रतीक रक्षाबंधन का पर्व हर वर्ष श्रावण शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि को मनाया जाता हैं। इस बार 9 अगस्त शनिवार को रक्षाबंधन का पर्व मनाया जाएगा । पंडित बनवारी लाल शर्मा ने बताया कि राखी बांधने का शुभ समय सुबह 07 बजकर 35 मिनट से 09 बजकर 02 मिनट तक रहेगा । इसके बाद दोपहर में 12 बजकर 30 मिनट से शाम के 05 बजकर 26 मिनट तक हैं। रक्षाबंधन के दिन सौभाग्य योग,शोभन योग और सर्वार्थ सिद्धि योग रहेगा । इस बार रक्षाबंधन पर भद्रा का प्रभाव नहीं हैं ।

शनिवार 9 अगस्त को श्रवण नक्षत्र रहेगा। इस दिन चंद्रमा मकर राशि में रहेंगे,जिसका स्वामी शनि है और शनिवार का स्वामी भी शनि हैं। श्रवण नक्षत्र स्वयं शनि की राशि में आता हैं । श्रवण नक्षत्र के अधिपति विष्णु हैं जबकि सौभाग्य योग के अधिपति ब्रह्मा हैं। आचार्य गौरी शंकर शर्मा बोरखेड़ा ने बताया कि इस दिन भाई को राखी बांधने से पहले रक्षा सूत्र भगवान को जरूर अर्पित करें. इसके बाद अपने भाई को पूर्व या उत्तर दिशा की ओर मुख करके बैठाएं। फिर आप उसे तिलक लगाएं और रक्षा सूत्र बांधे । भाई की आरती करके मिठाई खिलाएं और उसकी लंबे और सुखी जीवन की कामना करें ।

रेशमी और सूती राखी श्रेष्ठ

धर्म विशेषज्ञ श्री कृष्ण चंद्र शर्मा बताते हैं कि धार्मिक दृष्टिकोण से रेशमी या सूती धागों से बनी राखियां सबसे उत्तम मानी जाती है। राखियों में ओम, स्वास्तिक, रुद्राक्ष या शुभ रत्नों का उपयोग सकारात्मकता लाता है। लाल, पीला, केसरिया और हरा रंग शुभ और समृद्धि का प्रतीक माना गया है। राखी केवल एक धागा नहीं, बल्कि भाई-बहन के रिश्ते की भावना है, जिसे सच्चे दिल और प्रेम से बांधा जाना चाहिए।

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