बस बॉडी कोड के उल्लंघन पर दो स्लीपर बसें जब्त

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जयपुर। जैसलमेर बस अग्निकांड के बाद राजस्थान परिवहन विभाग ने सख्त रुख अपनाते हुए चौमू क्षेत्र में दो स्लीपर बसें एमपी 44 जेडडी 9944 और एआर 11 एल 1111 को जब्त किया। जो बस बॉडी कोड एआईएस-119/52 के प्रावधानों का गंभीर उल्लंघन करती पाई गईं। यह कार्रवाई जिला परिवहन अधिकारी अनूप सहरिया की अगुवाई में की गई। जांच के दौरान बसों में अग्निशमन प्रणाली (एफडीएसएस) और फायर एक्सटिंग्विशर नहीं पाए गए, जबकि एक बस में एलपीजी गैस सिलेंडर भी मिला। जो यात्रियों की सुरक्षा के लिए गंभीर खतरा था।

अधिकारी सहरिया ने यात्रियों को वैकल्पिक बसों से गंतव्य तक पहुंचाने की व्यवस्था की, भोजन-पानी उपलब्ध कराया और मानवीयता के साथ कार्रवाई पूरी की। यात्रियों को रविवार सुबह करीब 4 बजे सुरक्षित रवाना किया गया।

प्रादेशिक परिवहन अधिकारी जयपुर द्वितीय धर्मेन्द्र कुमार ने बताया कि यह कार्रवाई मुख्यमंत्री के निर्देशों और हाईकोर्ट के आदेशों के अनुरूप है। उन्होंने कहा कि “ऐसे अवैध और असुरक्षित वाहनों को किसी भी सूरत में सड़कों पर नहीं चलने दिया जाएगा।”
विभाग ने ऐसे वाहनों को आमजन के लिए खतरा मानते हुए जब्त किया। परिवहन विभाग ने चेतावनी दी है कि ऐसी सख़्त कार्रवाई आगे भी जारी रहेगी।

प्रादेशिक परिवहन अधिकारी जयपुर द्वितीय धर्मेन्द्र कुमार ने इसके साथ ही इन स्लीपर कोच बस की लंबाई के अनुरूप स्लीपरों की संख्या के अधिकतम छह पंक्तियाँ हो सकती है अधिकतम 36 स्लीपर हो सकते हैं लेकिन इसके वाहन स्वामी ने चैसिस को काटकर उसके पीछे बॉडी बढ़ाकर के पीछे अनाधिकृत रूप से वाहन के स्लीपर की अनुमत न्यूनतम लंबाई में 1800 एमएम के स्थान पर कम करके सात पंक्तियां बनाकर कुल 50 स्लीपर लगा रखे थे।

इसी प्रकार इसमें पीछे गैंगवे की सामने आपातकालीन दरवाज़ा नियमानुसार नहीं था और जो था उसमें भी वाहन की लंबाई के समरूप स्पीकर लगाकर उसे बाधित कर रखा था अन्य आपातकालीन द्वार भी नियमानुसार नहीं थे तथा वाहन की बॉडी को वाहन के मूल चैसिस के फ़्रेम के ऊपर वर्टिकल बीम लगाकर क्रॉस बियरर को ऊपर उठाकर बॉडी को ऊपर उठा रखा था जो कि नियम विरुद्ध था।

वीडियो वायरल कर दबाव बनाने का प्रयास

इस दौरान यात्रियों ने वाहन स्वामी के बहकावे में आकर वीडियो वायरल कर दबाव बनाने का प्रयास किया । लेकिन परिवहन विभाग के अधिकारियों ने शालीनता से संयम रखते हुए मानवीयता और संवेदनशीलता दिखाते हुए प्रकरण में समझाइश कर अवैध रूप से निर्मित इस बस जो कि आम जन के लिए खतरनाक हो सकती थी को रिलीज़ नहीं किया।

इस प्रकार परिवहन विभाग ने संदेश दिया है कि किसी भी परिस्थिति में आम जन को खतरा पारित कर चलने वाले ऐसे अनाधिकृत परिवर्तन वाले वाहनों को सड़क पर नहीं चलने दिया जाएगा और उन्हें जब्त कर नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी।

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