जयपुर। कोटपुतली-बहरोड में दुष्कर्म पीड़िता पर जान लेवा हमले में मामले में पुलिस विवादों में घिरती नजर आ रही है। पुलिस की ओर से जारी एक प्रेस नोट में प्रेम प्रसंग के चलते पूर्व प्रेमिका की हत्या के प्रयास की घटना के खुलासे की बात लिखी। पुलिस के इस आरोप के बाद परिजनों में आक्रोश व्याप्त है साथ ही महिला संगठनों ने इसकों लेकर नाराजगी जाहिर की है। इस मामले में कोटपुतली-बहरोड़ पुलिस की ओर से 26 फरवरी को प्रेस नोट जारी किया गया था।
इसमें प्रेम प्रसंग के चलते हुए पूर्व प्रेमिका की हत्या के प्रयास की घटना के खुलासे की बात लिखी है। नोट में आईजी जयपुर रेंज उमेश दत्ता और कोटपूतली-बहरोड़ एसपी वंदिता राणा के नाम का जिक्र है। नोट में सबसे पहली लाइन लिखी है- प्रेम प्रसंग के चलते हुए पूर्व प्रेमिका के प्रयास की घटना में प्रागपुरा पुलिस ने किया खुलासा। आगे लिखा- सभी आरोपियों को 18 घंटे में डिटेन किया और एक गंडासा, पिस्तौल और बाइक को बरामद किया है।
पीडिता का एसएमएस में उपचार जारी, हालात गंभीर
कोटपूतली-बहरोड़ के प्रागपुरा में 24 फरवरी की शाम राजेंद्र यादव , महेश उर्फ महिपाल और राहुल गुर्जर ने 25 साल की रेप पीड़िता और उसके भाई पर हमला कर दिया था। आरोपियों ने गंडासे से एक के बाद एक कई वार किए थे। वर्तमान में पीडिता एसएमएस अस्पताल में जिदंगी और मौत की जंग लड़ रही है। पीडिता की हालात गंभीर बनी हुई है। पीड़िता के भाई का कहना है कि सभी बातें झूठी है। पुलिस ने एफआईआर दर्ज करने से लेकर बयान लेने तक में समय लगाया। उसकी बहन अस्पताल में जिदंगी की जंग लड़ रही है। पुलिस ऐसा इसलिए कर रही है ताकि उनकी कार्यप्रणाली पर जो सवाल उठ रहे हैं, उससे वो बच सकें।
राज्य बाल संरक्षण आयोग अध्यक्ष संगीता बेनीवाल ने नाराजगी जाहिर की है। उनका कहना है कि पुलिस का यह बयान जारी करना, युवती पर हमले का कारण प्रेम प्रसंग था। यह नैतिकता के आधार पर सही नहीं है।