जयपुर। राधेश्याम माहेश्वरी और चमेली देवी माहेश्वरी की पुण्य स्मृति में विद्याधरनगर सेक्टर दो के माहेश्वरी समाजोपयोगी भवन उत्सव में चल रही हरिनाम संकीर्तन परिवार के तत्वावधान में 494 वीं श्रीमद् भागवत कथा में सोमवार को नंदोत्सव मनाया गया। व्यासपीठ से अकिंचन महाराज ने कहा कि नंद बाबा वह है जो सबको आनंद देता है और यशोदा उसका नाम है जो सबको यश देती है। ऐसी निर्मल भावना रखने वाले आंगन में भगवान आने को आतुर है। लेकिन आज लोग खुद तो हर जगह से सम्मान प्राप्त करना चाहते हैं लेकिन दूसरे को सम्मान देने में उनका अहंकार आड़े आ जाता है।
नंदोत्सव पर नंद के आनंद भयो जय कन्हैया लाल की… कान्हा जन्म सुन आई यशोदा मैया दे दो बधाई…जैसे बधाईगान हुए। खिलौने, फल, वस्त्र की जमकर उछाल की गई। श्रोताओं ने नृत्य कर कान्हा जन्म की खुशियां मनाई। इससे पूर्व भगवान राम के जन्म की लीला का उत्सव मनाया गया। अंबरीश चरित्र, मत्स्यावतार की कथा भी हुई। आयोजक ज्ञान प्रकाश चांडक ने बताया कि 11 जून को श्री कृष्ण की बाल लीला, दामोदर लीला, गोवर्धन पूजन की कथा होगी।
छप्पन की झांकी सजाई जाएगी। 12 जून को राशि रास लीला, कृष्ण का मथुरा गमन, रुकमणी विवाह के प्रसंग होंगे। 13 जून को सुबह आठ से 11 बजे तक सुदामा चरित्र, नव योगेश्वर संवाद, चौबीस गुरुओं की कथा, परीक्षित मोक्ष, शुकदेव विदाई की कथा होगी। दोपहर 12 से एक बजे तक हवन होगा।